महिला संवाद में योजनाओं की मिल रही जानकारी से सशक्त हो रही हैं महिलाएं
• योजनाओं से जुड़ रहीं महिलाएं कर रही हैं अधिकार और विकास की बात।
• नर्बदा गाँव में महिलाओं ने स्कूल और आंगनबाड़ी की मांग की।
सिटी संवाददाता : प्रो० रामजीवन साहू
जमुई : ग्रामीण विकास विभाग द्वारा महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देने और सरकारी योजनाओं की जानकारी ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं तक पहुँचाने के उद्देश्य से चलाए जा रहे राज्यव्यापी महिला संवाद कार्यक्रम का आयोजन जमुई जिले में निरंतर जारी है।
यह कार्यक्रम ग्रामीण महिलाओं के जीवन में आशा की नई किरण बनकर उभरा है। महिलाओं को न सिर्फ सरकारी योजनाओं की जानकारी मिल रही है, बल्कि वे अपनी आवाज़ बुलंद करने, गाँव की समस्याओं को सामने लाने और सामूहिक विकास में सक्रिय भागीदारी निभाने का सशक्त मंच भी प्राप्त कर रही हैं। "सशक्त नारी, समृद्ध समाज" की दिशा में यह कार्यक्रम महिलाओं के जीवन में बदलाव ला रहा है, और एक नई उम्मीद की किरण बनकर उभर रहा है।
जमुई जिले में यह कार्यक्रम 18 अप्रैल 2025 से लगातार प्रत्येक दिन 22 स्थानों पर दो पालियों में आयोजित किया जा रहा है। अब तक 1089 ग्राम संगठनों के सहयोग से इस अभियान के तहत 2 लाख 18 हजार 613 महिलाओं ने भाग लेकर सरकार की योजनाओं की जानकारी प्राप्त की है और 25 हजार से अधिक आकांक्षाएँ महिलाओं की ओर से आई हैं।
शुक्रवार 6 जून को जमुई सदर प्रखंड के चौडीहा पंचायत के नर्बदा गाँव में रंगोली ग्राम संगठन द्वारा आयोजित महिला संवाद कार्यक्रम में महिलाओं ने स्कूल और आंगनबाड़ी की मांग को प्रमुखता से रखा। जीविका समूह से जुड़ी रेखा देवी ने बताया कि उन्होंने समूह से ऋण लेकर ई-रिक्शा खरीदी है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति पहले से बेहतर हुई है। रेखा देवी ने यह भी बताया कि गाँव में जीविका भवन या सामुदायिक भवन की आवश्यकता है, ताकि महिलाओं को बैठक आयोजित करने में कोई परेशानी न हो। साथ ही नल-जल की समस्या का समाधान किया जाना चाहिए।
कार्यक्रम में निशा देवी ने बताया कि उनके बच्चे को मैट्रिक में प्रथम आने पर 10 हजार रुपए मिले, जिससे वह बहुत खुश हैं। हालांकि, उन्होंने अपने गाँव में नल-जल और नाला निर्माण की आवश्यकता पर जोर दिया। सतत जीविकोपार्जन योजना की लाभार्थी गुड्डी देवी बकरी पालन करके अपनी जीवनशैली को सशक्त बना रही हैं।
सिकंदरा प्रखंड के धावाताड़ गाँव में आयोजित महिला संवाद कार्यक्रम में आरती स्वयं सहायता समूह की सदस्य मंजू देवी ने अपने गाँव की सामूहिक समस्याओं का जिक्र करते हुए कहा कि गाँव की सड़कें बहुत ख़राब हैं और उन्हें सुधारने की आवश्यकता है। साथ ही गली-नाली बनवाने और एक चबूतरा बनाने की आवश्यकता है, ताकि महिलाएं सामूहिक रूप से बैठक कर सकें। गाँव में एक स्वास्थ्य केंद्र और छठ घाट बनाने की भी मांग की गई।
आरती स्वयं सहायता समूह की ममता कुमारी ने गाँव में उच्च विद्यालय की मांग की, क्योंकि वर्तमान में यहाँ केवल पाँचवीं तक की शिक्षा है। ममता ने खुद के लिए रोजगार की भी मांग की।
जिले के आठ प्रखंडों - जमुई सदर, चकाई, लक्ष्मीपुर, सिकंदरा, ई.अलीगंज, सोनो, झाझा और खैरा में महिला संवाद कार्यक्रम के दौरान महिलाएं अपनी जीवन यात्रा, सामाजिक अनुभव, आकांक्षाएं और सुझाव साझा कर रही हैं। गाँव-समाज की समस्याओं को वे आत्मविश्वास से सामने रख रही हैं।
कार्यक्रम स्थल पर लगी एलईडी स्क्रीन के माध्यम से सरकार की योजनाओं को रोचक और प्रेरणादायी तरीके से प्रस्तुत किया जा रहा है, जिससे महिलाओं में उत्साह और जानकारी के प्रति रुचि दोनों बढ़ी है।
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